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शिया वक्फ बोर्ड के कर्मियों का बहिष्कार
शिया वक्फ बोर्ड के कर्मियों का बहिष्कार

लखनऊ: शिया वक्फ बोर्ड के कर्मियों ने वेतन बकाए को लेकर किया कार्य बहिष्कार, बोले- 41 महीने का वेतन बकाया, घर का खर्च कैसे चलेगा?

लखनऊ– शिया सेन्ट्रल वक्फ बोर्ड के कर्मचारियों ने सोमवार को अपने 41 महीने के बकाया वेतन के भुगतान की मांग को लेकर कार्य बहिष्कार किया। कर्मचारियों का आरोप है कि पिछले पांच महीने से उनका वेतन नियमित रूप से नहीं दिया जा रहा है, जिससे उनके घर का खर्च चलाना मुश्किल हो गया है। कई कर्मचारियों का कहना है कि वे बच्चों के स्कूल की फीस और मकान का किराया तक नहीं जमा कर पा रहे हैं।

कर्मचारियों का संकट
शिया वक्फ बोर्ड में वर्तमान में 14 कर्मचारी कार्यरत हैं, जिनका वेतन लगातार पांच महीनों से बकाया है। इसके अलावा, पिछले 37 महीनों से कर्मचारियों का वेतन नियमित रूप से नहीं मिल रहा है, जिससे उनका कुल 41 महीने का वेतन बकाया हो गया है। इस संकट के कारण कर्मचारियों के सामने गंभीर आर्थिक समस्या उत्पन्न हो गई है।

कर्मचारियों की मुश्किलें
कर्मचारी मुंतजिर मेंहदी ने बताया कि जब से वेतन का भुगतान बंद हुआ है, तब से कर्मचारियों का जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। वे कहने लगे, “कई कर्मचारी बीमार हैं लेकिन इलाज के लिए पैसे नहीं हैं। वेतन का भुगतान न होने के कारण हमारी आर्थिक स्थिति बेहद खराब हो गई है।”

आबिद रजा नामक एक अन्य कर्मचारी ने कहा, “मेरे पास इतना पैसा नहीं है कि बच्चों की स्कूल फीस जमा कर सकूं। मुझे अपने बच्चों को स्कूल में खड़ा कर दिया गया है, क्योंकि फीस के लिए पैसे नहीं हैं।” उन्होंने बताया कि मजबूरी में ही उन्होंने कार्य बहिष्कार का कदम उठाया है और इस मुद्दे के समाधान के लिए विरोध जताया है।

शासन और बोर्ड को बार-बार पत्र भेजा
वक्फ बोर्ड के कर्मचारियों ने वेतन के भुगतान के लिए कई बार बोर्ड के अध्यक्ष और शासन को पत्र भेजे, लेकिन अभी तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। कर्मचारियों का कहना है कि उनकी मेहनत का सही मूल्य नहीं मिल रहा है और सरकार तथा बोर्ड की ओर से कोई ठोस कार्रवाई नहीं की जा रही है।

कर्मचारियों की मांग
कर्मचारियों ने मांग की है कि उनका 41 महीने का बकाया वेतन तत्काल रूप से दिया जाए, ताकि वे अपनी रोजमर्रा की जिंदगी को सामान्य बना सकें। इसके अलावा, वेतन भुगतान में विलंब के कारण हुए नुकसान के लिए बोर्ड और शासन से उचित कार्रवाई की भी अपील की है।

समाज और कर्मचारी संगठन का समर्थन
वेतन के भुगतान की इस समस्या को लेकर कर्मचारी संगठन और स्थानीय समाज में गुस्सा है। कई सामाजिक संगठनों ने कर्मचारियों के साथ एकजुटता जताई है और उनके लिए जल्द समाधान की उम्मीद की है। समाज के लोग भी मानते हैं कि वक्फ बोर्ड के कर्मचारियों का कठिन समय देखकर सरकार को तुरंत कदम उठाने चाहिए।

आगे की कार्रवाई
कर्मचारियों का कहना है कि यदि शीघ्र ही वेतन का भुगतान नहीं किया जाता है, तो वे और कठोर कदम उठा सकते हैं। उनका कहना है कि उनका विरोध सिर्फ वेतन के लिए नहीं है, बल्कि यह उनके अधिकारों की रक्षा के लिए भी है।

मामला
स्थान: शिया सेन्ट्रल वक्फ बोर्ड, लखनऊ
कर्मचारी: 14 कर्मचारी कार्यरत
बकाया वेतन: 41 महीने
आंदोलन: वेतन के भुगतान की मांग को लेकर कार्य बहिष्कार
समस्याएं: वेतन न मिलने के कारण बच्चों की फीस, इलाज, और घरेलू खर्च में परेशानी
अधिकारियों की ओर से प्रतिक्रिया: कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया, कर्मचारी शासन और बोर्ड से कार्रवाई की मांग कर रहे हैं

इस मुद्दे को लेकर कर्मचारियों की निराशा और गुस्सा साफ दिखाई दे रहा है। अब देखना यह है कि सरकार और वक्फ बोर्ड इस गंभीर समस्या का समाधान कब तक करते हैं और कर्मचारियों को उनका बकाया वेतन कब तक मिल पाता है।

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