हरदोई, शाहाबाद। तत्कालीन खंड विकास अधिकारी (BDO) मनवीर सिंह के खिलाफ उठे आरोपों और राज्यपाल द्वारा दी गई विभागीय कार्रवाई की संस्तुति के बारे में है। इस मामले में मनवीर सिंह ने अपने तबादले के बाद वित्तीय स्वीकृतियों को लेकर कुछ विवादास्पद निर्णय लिए हैं, जिन्हें लेकर शासन ने गंभीर कार्रवाई का निर्णय लिया है।
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- तबादला और वित्तीय स्वीकृति:
मनवीर सिंह को शाहाबाद (हरदोई) में बीडीओ के पद से स्थानांतरित कर दिया गया था। इसके बाद, उन्होंने 31 जनवरी 2024 को शाहाबाद की चार ग्राम पंचायतों में लगभग 32 लाख रुपये के कार्यों की वित्तीय स्वीकृति जारी की थी। इसके साथ ही, वे भरखनी ब्लॉक के अतिरिक्त चार्ज पर भी थे, जहां उन्होंने लगभग 51 लाख रुपये के मनरेगा कार्यों की वित्तीय स्वीकृति दी थी। - वित्तीय स्वीकृति पर आपत्ति:
इन स्वीकृतियों को लेकर यह आरोप लगाया जा रहा है कि मनवीर सिंह ने अपने तबादले के बाद, जब वह अब शाहाबाद के बीडीओ नहीं रहे थे, फिर भी इन कार्यों की वित्तीय स्वीकृतियां जारी कीं। यह एक गंभीर उल्लंघन है, क्योंकि तबादला होने के बाद, अधिकारी को अपने क्षेत्र के कार्यों से संबंधित निर्णय लेने का अधिकार नहीं होता है। - राज्यपाल की संस्तुति:
राज्यपाल ने इस मामले में विभागीय कार्रवाई की संस्तुति की है। इसके तहत, एक जांच की जाएगी और इसकी रिपोर्ट दो माह के भीतर शासन को प्रस्तुत की जाएगी। - विभागीय जांच और कार्रवाई:
इस मामले की विभागीय जांच मुरादाबाद के संयुक्त विकास आयुक्त द्वारा की जाएगी, जो जांच अधिकारी के रूप में नामित किए गए हैं। जिलाधिकारी ने भी इस मामले की जांच के निर्देश दिए थे और इसके बाद शासन को पत्र भेजकर मामले की जांच की प्रक्रिया को गति दी गई थी। - आचरण नियमावली का उल्लंघन:
मनवीर सिंह द्वारा किए गए निर्णय सरकारी सेवक आचरण नियमावली के उल्लंघन माने गए हैं। सरकारी अधिकारी के पास किसी अन्य स्थान पर तैनात होने के बाद, उनके द्वारा स्वीकृतियों और निर्णयों की वैधता सवालों के घेरे में है।
यह मामला एक गंभीर प्रशासनिक उल्लंघन से संबंधित है, जिसमें बीडीओ मनवीर सिंह द्वारा अपनी तैनाती बदलने के बाद वित्तीय स्वीकृतियां जारी की गईं, जिनकी जांच की जा रही है। राज्यपाल ने इस पर कार्रवाई की संस्तुति की है और इसके लिए विस्तृत जांच की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। विभागीय जांच में यह स्पष्ट किया जाएगा कि क्या इन स्वीकृतियों को जारी करना कानूनी और उचित था, या क्या यह किसी प्रकार की अनियमितता का हिस्सा था।