बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को राज्य में भाजपा की अगुवाई वाले एनडीए के चेहरे के तौर पर पेश किए जाने की जदयू की मांग के बाद नीतीश ने इस पर कोई टिप्पणी करने से इनकार कर दिया कि अगले साल के लोकसभा चुनावों में राज्य में एनडीए का चेहरा कौन होगा? बस हंसकर ये कहा कि इफ्तार में सबका चेहरा अच्छा है। 
दरअसल, मुख्यमंत्री आवास में सोमवार को दावत ए इफ्तार का आयोजन किया गया था और इस अवसर पर पत्रकारों के सवाल के जवाब में नीतीश ने ये कहा, ‘‘यह एक खास मौका है जब मैं सभी के चेहरे पर खुशी देखना चाहूंगा। किसी और चेहरे के बारे में कृपया अभी सवाल नहीं करें। आपके सभी सवालों के जवाब उचित समय पर दिए जाएंगे। अभी दुआ करें कि रमजान का महीना बिहार में अमन-चैन लेकर आए।
इफ्तार के पहले बिहार और देश की तरक्की की दुआ की गई। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि सब दुआ करें कि सूबे में बाढ़ और सूखे की स्थिति न आए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि रमजान के पवित्र महीने के प्रति सम्मान प्रकट किए जाने को ले हर वर्ष सरकार की तरफ से इफ्तार का आयोजन होता है। उसी परंपरा के तहत आज इफ्तार का आयोजन हुआ। उन्होंने कहा कि सब दुआ करें कि बिहार में सूखा या बाढ़ की स्थिति उत्पन्न नहीं हो। जिस तरह से मानसून के पहले का मौसम है, आंधी-तूफान और उमस है, उसे देख कभी-कभी यह संदेह भी होता है कि कहीं मानसून में विलंब न हो जाए। लोग यह दुआ करें कि समय पर मानसून आए और बारिश अच्छी हो।
बता दें कि इससे पहले, दिन में उप-मुख्यमंत्री एवं भाजपा नेता सुशील कुमार मोदी ने कहा कि नीतीश राज्य सत्ताधारी गठबंधन के नेता हैं और एनडीए 2019 के आम चुनावों में जदयू अध्यक्ष नीतीश और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कामों के आधार पर वोट मांगेगा।
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