जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम में सोमवार को उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने 67वीं अखिल भारतीय पुलिस एथलेटिक्स चैंपियनशिप का उद्घाटन किया। इस मौक पर उनके साथ केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआइएसएफ) के महानिदेशक राजेश रंजन, मुक्केबाज विजेंद्र सिंह व डिस्कस थ्रो खिलाड़ी शक्ति सिंह अतिथि के तौर पर उपस्थित थे।
उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने कहा कि खेल व्यक्ति के जीवन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। खेल व्यक्ति को स्वस्थ रखते हैं। एक स्वस्थ राष्ट्र ही समृद्ध राष्ट्र है। स्वस्थ शरीर में ही स्वस्थ दिमाग का निवास होता है। नियमित व्यायाम व खेलकूद कार्य क्षमता को बढ़ाते हैं। इस प्रकार की प्रतिस्पर्धाएं न केवल पूरे देश के बलों को एक साथ लाती हैं बल्कि एक मंच प्रदान कर आपसी सौहार्द्र को भी बढ़ाती हैं।
उन्होंने कहा कि यह खुशी की बात है कि सुरक्षाबलों में खेल संस्कृति को जीवित रखा गया है। खुद को स्वस्थ रखने के लिए मैं आज भी रोजाना सुबह बैडमिंटन खेलता हूं।
राजेश रंजन ने कहा कि खेल पुलिस प्रशिक्षण पाठ्यक्रम का अभिन्न अंग है। यह टीम में साथ कार्य करने व नेतृत्व क्षमता को बढ़ाने में मदद करता है। तनाव दूर करने के लिए खेल को मजबूत साधन माना गया है।
यह चैंपियनशिप पुलिसकर्मियों को न सिर्फ अपनी प्रतिभा को प्रमाणित करने बल्कि शारीरिक क्षमता को प्रदर्शित करने के लिए सुनहरा अवसर प्रदान करती है। यह प्रतियोगिता 14 दिसंबर तक चलेगी। इसमें केंद्र व राज्य पुलिस बल की 34 टीमें भाग ले रही हैं, जिसमें लगभग 1000 खिलाड़ी शामिल हैं।
उद्घाटन के पहले दिन महिला व पुरुष वर्ग में विभिन्न प्रतिस्पर्द्धा हुई। सौ मीटर दौड़ में पुरुष वर्ग में पंजाब पुलिस के आकाशदीप सिंह व महिला वर्ग में सशस्त्र सीमा बल की रंगा कुमारी ने स्वर्ण पदक जीता। शॉट पुट, कूद व हैमर थ्रो में भी खिलाड़ियों ने पदक जीते।
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