लखनऊ। समाजवादी पार्टी ने अमित शाह पर निशाना साधते हुए कहा है कि उत्तर प्रदेश में वह जिस भाषा का प्रयोग कर रहे है, उससे यह स्पष्ट है कि भाजपा विधानसभा चुनाव में माहौल बिगाडऩे की हर तरह की कोशिश करेगी। पार्टी प्रवक्ता और राजनीतिक पेंशन मंत्री राजेन्द्र चौधरी ने आज यहां कहा कि भाजपा का पुराना ट्रंप कार्ड साम्प्रदायिकता का रहा है और वे इसी जहर को फैलाकर राजनीति करने की सोच रहे हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा का सपना पूरा होने वाला नहीं है क्योंकि मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने विकास का जो नया एजेंडा लागू किया है उससे आए बदलाव का अहसास हर प्रदेशवासी को हो रहा है। उन्होंने कहा कि जनता को विश्वास है कि समाजवादी सरकार ही उनकी समस्याओं के समाधान के साथ बेहतर जिंदगी जीने का अवसर दे सकती है पर इस सबसे भाजपा के अध्यक्ष बेखबर लगते हैं। चौधरी ने कहा कि भाजपा अध्यक्ष ने कैराना के मसले को चुनाव का मुद्दा बनाने की बात कहकर यह जता दिया है कि वह सामाजिक सद्भाव में यकीन नहीं करते हैं और सामाजिक तानाबाना को तोडऩा ही उनका लक्ष्य है। भाजपा नेता यहां साम्प्रदायिक तनाव पैदा करने में लगे हैं। इस बहाने वह उत्तर प्रदेश को फिर आग में झोंकने की साजिशें रच रहे हैं। गुजरात की घटनाओं को कोई भी कभी भूल नहीं सकता। सपा प्रवक्ता ने कहा कि भाजपा अध्यक्ष ने अपने भाषणों से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को भी हाशिए पर डाल दिया है जो ‘सबका विकास सबका साथ’ का नारा देते नहीं थकते हैं। उत्तर प्रदेश से भाजपा के 71 लोकसभा सदस्य हैं, उनका प्रदेश के विकास में क्या योगदान रहा है। अनर्गल बयानबाजी में माहिर भाजपा अध्यक्ष को यह तो बताना चाहिए कि मुख्यमंत्री ने उत्तर प्रदेश के किसानों के लिए सूखा राहत मद में 7000 करोड़ रुपये मांगे थे। केन्द्र ने उसमें कुल 2300 करोड़ रुपये देकर ही क्यों पल्ला झाड़ लिया। जबकि समाजवादी सरकार ने अपने संसाधनों से 5000 करोड़ रुपये राहत कार्य पर व्यय किया है। सिंचाई, सड़क परियोजनाओं पर केन्द्रीय मदद आज तक नहीं मिली। इसके बाद भी भाजपा अध्यक्ष राज्य सरकार पर झूठे आरोप लगा रहे हैं।