“सीएम योगी आदित्यनाथ ने संभल हिंसा पर बड़ा बयान देते हुए कहा कि यह देसी और विदेशी मुसलमानों के बीच वर्चस्व की लड़ाई है। संभल में कोर्ट के आदेश पर हो रहे सर्वे और जुमे की नमाज में भड़काऊ भाषण पर भी निशाना साधा।”
लखनऊ। उत्तर प्रदेश विधानसभा के शीतकालीन सत्र में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने संभल हिंसा पर बयान देते हुए इसे “देसी और विदेशी मुसलमानों के बीच वर्चस्व की लड़ाई” करार दिया। उन्होंने कहा कि संभल में ही हरिहर मंदिर स्थित है और यहीं भगवान विष्णु का दसवां अवतार होगा। सीएम योगी ने कहा, “राम के बिना हमारा कोई काम नहीं हो सकता।”
संभल में हिंसा कैसे भड़की?
सीएम योगी ने कहा कि कोर्ट के आदेश पर संभल में सर्वे हो रहा था, लेकिन जुमे की नमाज के दौरान भड़काऊ तकरीर से माहौल खराब हुआ। इस दौरान उन्होंने ऐतिहासिक दस्तावेज बाबरनामा का जिक्र करते हुए कहा कि इसमें भी मंदिरों को तोड़ने का जिक्र है।
धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व
संभल को धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण बताते हुए सीएम योगी ने कहा कि भगवान विष्णु के दसवें अवतार कल्कि का जन्म यहीं होगा। उन्होंने कहा कि “संभल की संस्कृति हमारी आस्था और धरोहर है, और हम इसे किसी भी कीमत पर संरक्षित करेंगे।”
संभल हिंसा का राजनीतिक असर
सीएम योगी के इस बयान के बाद विपक्ष ने उनकी आलोचना करते हुए इसे सांप्रदायिक राजनीति का हिस्सा बताया। समाजवादी पार्टी और कांग्रेस ने इसे जनता का ध्यान भटकाने की साजिश करार दिया।
सीएम योगी आदित्यनाथ ने संभल हिंसा को धार्मिक और सांस्कृतिक संदर्भ में जोड़ते हुए इसे राष्ट्रीय महत्व का मुद्दा बताया। इस बयान ने यूपी की राजनीति में हलचल मचा दी है। ताज़ा अपडेट के लिए जुड़े रहें। विशेष संवाददाता: मनोज शुक्ल
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