लखनऊ: उत्तर प्रदेश के सड़कों की गुणवत्ता पर सवाल उठाते हुए एक बड़ा खुलासा हुआ है। प्रदेश के 9 जिलों में नवनिर्मित सड़कों के नमूने जांच में फेल पाए गए हैं।
इससे पहले हरदोई जिले की सड़कों की खराब गुणवत्ता सामने आई थी, और अब कानपुर नगर, प्रतापगढ़, मुजफ्फरनगर, आजमगढ़, बलरामपुर, बदायूं, जालौन, बस्ती, और गाजीपुर जैसे जिलों की सड़कों की जांच रिपोर्ट भी चिंताजनक आई है।
क्या है मामला?
पीडब्ल्यूडी मुख्यालय के निर्देश पर इन जिलों की कुल 36 सड़कों के नमूने जांच के लिए लिए गए थे। यह कदम तब उठाया गया जब सड़कों की गुणवत्ता को लेकर लगातार शिकायतें मिल रही थीं। जांच के दौरान सड़कों की सामग्री और निर्माण प्रक्रिया में भारी खामियां पाई गईं।
जांच रिपोर्ट का खुलासा
पीडब्ल्यूडी द्वारा शासन को सौंपी गई रिपोर्ट में बताया गया है कि इन जिलों की सड़कों में मानकों का पालन नहीं किया गया। निर्माण सामग्री में गुणवत्ता की कमी और कार्य प्रक्रिया में लापरवाही स्पष्ट रूप से देखी गई।
अधिकारियों पर कार्रवाई की तैयारी
सड़क निर्माण में अनियमितताओं की पुष्टि के बाद संबंधित ठेकेदारों और अधिकारियों पर कार्रवाई की संभावना है। शासन ने जांच रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्रवाई के आदेश दिए हैं।
जनता में आक्रोश
इस खुलासे के बाद स्थानीय जनता और सामाजिक संगठनों में आक्रोश है। उनका कहना है कि सरकार द्वारा बड़े बजट में बनाई गई सड़कें कुछ ही समय में खराब हो रही हैं, जो जनता के पैसे की बर्बादी है।
सरकार ने दोषी अधिकारियों और ठेकेदारों पर सख्त कार्रवाई का भरोसा दिलाया है। आगामी दिनों में इन जिलों में सड़क निर्माण की गुणवत्ता पर और कड़ी निगरानी रखने की योजना बनाई जा रही है।
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