नई दिल्ली। दिल्ली की केजरीवाल सरकार पानी की आपूर्ति में खतरनाक तत्वों की मिलावट से निपटने के लिए जल आपदा प्रबंधन केंद्र शुरू करेगी। दिल्ली सरकार का दावा है कि चंदावल में देश का पहला आपदा प्रबंधन केंद्र होगा।
दरअसल पिछले काफी समय से यमुना पानी में अमोनिया की मात्रा 1.08 पीपीएम होने की बात सामने आ रही है। इस वजह से जल बोर्ड द्वारा वजीराबाद और चंद्रावल जलशोधन संयंत्र का कई बार बंद करना पड़ा था। गौरतलब है कि पानी में अमोनिया का स्तर 1 पीपीएम से ज्यादा नहीं होना चाहिए । इससे ज्यादा होने पर जल शोधन संयंत्रों में उत्पादन संभव नहीं है।
अमोनिया बढ़ने की वजह से दिल्ली जलबोर्ड के चंद्रावल और वजीराबाद वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट का प्रोडक्शन करीब 75 फीसदी तक कम हो जाता है। जिससे दिल्ली में पानी का संकट हो जाता है। इस समस्या को देखते हुए सरकार की ओर से जल्द ही दिल्ली में जल आपदा प्रबंधन केंद्र बनाने की शुरूआत की जाएगी।
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