Sunday , April 28 2024
देवों के देव कहे जाने वाले भगवान शिव को बाकी सभी देवताओं में से सबसे बड़े देवता का स्थान प्राप्त हैं. सावन का महीना शुरू हो चुका है और हर कोई इस महीने में भगवान शिव की सच्चे मन से आराधना करते हैं. आज हम आपको भगवान शिव से जुड़ा एक ऐसा रहस्य बताने जा आ रहे हैं जिसे आप आज तक वाकिफ नहीं हुए होंगे. पौराणिक कथाओं के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि भगवान शिव पहले बद्रीनाथ धाम में अपने परिवार के साथ निवास करते थे लेकिन यह स्थान भगवान विष्णु को बहुत पसंद था और उन्होंने इस स्थान को पाने का मन बना लिया. ऐसा कहा गया है कि सतयुग में भगवान शंकर अपनी पत्नी माता पार्वती के साथ बद्रीनाथ में आराम पूर्वक से रहते थे. इसी दौरान माता पार्वती को एक बच्चे के रोने की आवाज आई. जानिए सावन में क्यों की जाती हैं भगवान शिव की पूजा बच्चे के रोने की आवाज सुनकर माता पार्वती घबरा गई और बाहर निकलकर वे सोचने लगी कि इस वन में यह कौन बालक रो रहा है, यह कहां से आया है और यह किसका पुत्र है. रोते हुए बच्चे पर माता पार्वती को दया आ गई और वे बच्चे को अपने घर ले आई. इस दौरान भगवान शिव समझ गए कि यह लीला भगवान विष्णु की हैं. भगवान शिव के लाख मना करने के बावजूद पार्वती ने बच्चे को घर में जगह दें दी

इस तरह भगवान विष्णु ने छल से छीन लिया था शिव से बद्रीनाथ

देवों के देव कहे जाने वाले भगवान शिव को बाकी सभी देवताओं में से सबसे बड़े देवता का स्थान प्राप्त हैं. सावन का महीना शुरू हो चुका है और हर कोई इस महीने में भगवान शिव की सच्चे मन से आराधना करते हैं. आज हम आपको भगवान शिव से जुड़ा एक ऐसा रहस्य बताने जा आ रहे हैं जिसे आप आज तक वाकिफ नहीं हुए होंगे.देवों के देव कहे जाने वाले भगवान शिव को बाकी सभी देवताओं में से सबसे बड़े देवता का स्थान प्राप्त हैं. सावन का महीना शुरू हो चुका है और हर कोई इस महीने में भगवान शिव की सच्चे मन से आराधना करते हैं. आज हम आपको भगवान शिव से जुड़ा एक ऐसा रहस्य बताने जा आ रहे हैं जिसे आप आज तक वाकिफ नहीं हुए होंगे.  पौराणिक कथाओं के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि भगवान शिव पहले बद्रीनाथ धाम में अपने परिवार के साथ निवास करते थे लेकिन यह स्थान भगवान विष्णु को बहुत पसंद था और उन्होंने इस स्थान को पाने का मन बना लिया. ऐसा कहा गया है कि सतयुग में भगवान शंकर अपनी पत्नी माता पार्वती के साथ बद्रीनाथ में आराम पूर्वक से रहते थे. इसी दौरान माता पार्वती को एक बच्चे के रोने की आवाज आई.  जानिए सावन में क्यों की जाती हैं भगवान शिव की पूजा  बच्चे के रोने की आवाज सुनकर माता पार्वती घबरा गई और बाहर निकलकर वे सोचने लगी कि इस वन में यह कौन बालक रो रहा है, यह कहां से आया है और यह किसका पुत्र है. रोते हुए बच्चे पर माता पार्वती को दया आ गई और वे बच्चे को अपने घर ले आई. इस दौरान भगवान शिव समझ गए कि यह लीला भगवान विष्णु की हैं. भगवान शिव के लाख मना करने के बावजूद पार्वती ने बच्चे को घर में जगह दें दी

पौराणिक कथाओं के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि भगवान शिव पहले बद्रीनाथ धाम में अपने परिवार के साथ निवास करते थे लेकिन यह स्थान भगवान विष्णु को बहुत पसंद था और उन्होंने इस स्थान को पाने का मन बना लिया. ऐसा कहा गया है कि सतयुग में भगवान शंकर अपनी पत्नी माता पार्वती के साथ बद्रीनाथ में आराम पूर्वक से रहते थे. इसी दौरान माता पार्वती को एक बच्चे के रोने की आवाज आई.

बच्चे के रोने की आवाज सुनकर माता पार्वती घबरा गई और बाहर निकलकर वे सोचने लगी कि इस वन में यह कौन बालक रो रहा है, यह कहां से आया है और यह किसका पुत्र है. रोते हुए बच्चे पर माता पार्वती को दया आ गई और वे बच्चे को अपने घर ले आई. इस दौरान भगवान शिव समझ गए कि यह लीला भगवान विष्णु की हैं. भगवान शिव के लाख मना करने के बावजूद पार्वती ने बच्चे को घर में जगह दें दी

E-Paper

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com