प्याज की पैदावार इस बार भी बंपर रही है. इससे इसकी कीमत गिरकर 900 रुपए क्विंटल तक आ गई है. बीते साल यह 1900 रुपए प्रति क्विंटल के हिसाब से बिक रहा था. महाराष्ट्र की मंडियों में प्याज का दाम 500-800 रुपये क्विंटल तक गिर गया है. हमारी सहयोगी के मुताबिक प्याज की कीमतों में इतनी गिरावट से किसानों को बड़ा संकट झेलना पड़ सकता है लेकिन ग्राहकों को यह बड़ी राहत प्रदान करेगा. किसान अधिक पैदावार के कारण प्याज सस्ता बेचने पर मजबूर हैं. इन्हें स्टोर करने की जगह नहीं बची है. मंडियों में इसकी आमद लगातार बढ़ रही है. कर्नाटक और तमिलनाडु से इस माह के अंत तक नए प्याज की आवक शुरू हो जाएगी. राजस्थान, गुजरात, मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र से भी नया प्याज आना शुरू होगा. इससे उम्मीद की जा रही है कि पूरे साल प्याज के रेट गिरे रहेंगे.
बीते साल 90 रुपए किलो तक बिक रहा था प्याज
अहमदाबाद के किसान ने बताया कि बीते साल तो एक क्विंटल प्याज के रेट 1800 से 1900 रुपए के बीच चल रहे थे लेकिन इस बार यह 800 से 900 रुपए की रेंज में आ गया है. बीते साल यह 50 से 90 रुपए किलो तक बिक रहा था. लेकिन अब यह 5 से 10 रुपए किलो में बिक रहा है. प्याज ऐसी चीज जिसकी हर घर में बराबर जरूरत पड़ती है और इसे ज्यादा दिन बचा के भी नहीं रखा जा सकता. हर साल देश में करीब 2500 ट्रक प्याज की बिक्री होती है. सेल बढ़ने पर यह 3000 ट्रक तक पहुंच जाती है.
क्यों सस्ता बेच रहे किसान
प्याज बड़ी मात्रा में कोल्ड स्टोरेज में भरा हुआ है. साथ ही नया प्याज भी आने लगा है. इस कारण किसानों को उसे सस्ते में बेचना पड़ रहा है. प्याज को ज्यादा समय तक स्टोर भी नहीं किया जा सकता. यह हालत इस साल मई से ही बनी हुई है. हालांकि एनसीआर में अब भी फुटकर प्याज की कीमत 20 रुपए किलो के आसपास बनी हुई है.
बंपर रही प्याज की पैदावार
इस साल प्याज की अच्छी पैदावार हुई है. भोपाल कृषि उपज मंडी में ही 25,000 क्विंटल प्याज आने की उम्मीद है. किसान अच्छे माल के सौदे मंडी से बाहर कर रहे हैं. वे खराब माल मंडी में ला रहे हैं. इससे उन्हें उपज का कम दाम मिल रहा है. प्याज का यही हाल मध्य प्रदेश की अन्य मंडियों में भी है. देश में प्याज की सबसे बड़ी लासलगांव मंडी में भी कीमतों में भारी गिरावट आई है. यह मंडी महाराष्ट्र के नासिक में है. लासलगांव में प्याज का दाम 500 रुपये क्विंटल पर आ गया है.