लखनऊ। केन्द्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्य मंत्री और रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष राम दास अठावले ने लखनऊ में एलान किया कि आरपीआई और भाजपा 2017 का चुनाव मिलकर लड़ेगी और यूपी की अगली सरकार बनाएगी। उन्होंने कहा कि आरपीआई बसपा के विकल्प के रूप में स्थापित होकर दिखाएगी। रविवार को उन्होने कहा कि अभी तक यूपी में आप लोगों नें बहन जी की सरकार देखी अब भाई को भी मौका दो।
दलितों की वास्तविक पार्टी आरपीआई-
केन्द्रीय राज्यमंत्री बनने के बाद पहली बार लखनऊ आयेअठावलेने कहा कि दलितों की वास्तविक पार्टी आरपीआई ही है। मायावती ने उनकी जमीन पर अतिक्रमण कर लिया है। इस चुनाव में वह अपनी जमीन को अतिक्रमण मुक्त कराने के लिए ही आए हैं। उन्होंने कहा कि वह दलितों का वोट बांटने नहीं बल्कि उन्हें जोड़ने के लिए आये हैं।
मायावती को भाजपा में ले जा सकता हू्ं-
उन्होंने कहा कि कानपुर में बाबा साहब अम्बेडकर की मूर्ति टूटी थी, तब वहां मायावती नहीं मैं गया था।अठावलेने इस बात से साफ इनकार किया कि मायावती अगर उन्हें साथ में चुनाव लड़ने का ऑफर दें तो वह उनके साथ जा सकते हैं। उन्होंने कहा कि मायावती अगर साथ आना चाहें तो वह उन्हें भाजपा में ले जा सकते हैं।
बहन को बहुत देख लिया अब भाई को देखो-
अठावले ने कहा कि 2017 के चुनाव में मैं जनता से यही कहूंगा कि बहन को बहुत देख लिया अब भाई को देखो। उन्होंने कहा कि नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व पर उन्हें पूरा विश्वास है। खुद मायावती भी भाजपा की गोद में बैठ चुकी हैं। उन्हें पता है कि भाजपा के साथ चुनाव लड़ना सही फैसला है। उन्होंने कहा कि अगर भाजपा के साथ उनका गठबंधन नहीं हो पाया तो उनकी पार्टी अकेले यूपी की ढाई सौ सीटों पर चुनाव लड़ेगी।अठावलेने कहा कि 50 फीसदी रिजर्वेशन बहुत कम है। दलितों को 75 फीसदी रिजर्वेशन मिलना चाहिए। हालांकि वह यूपी चुनाव में 50 फीसदी दलितों को टिकट देंगे।
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