लखनऊ। प्रयागराज में पौधारोपण में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी का मामला सामने आने के बाद वन विभाग ने पूरे प्रदेश में पौधारोपण स्थलों की आकस्मिक जांच का निर्णय लिया है। यह जांच कंप्यूटर आधारित रेंडम पद्धति से चयनित स्थलों पर की जाएगी।
वन विभाग की ऑडिट टीम के साथ वरिष्ठ अधिकारियों को जांच के लिए भेजा जाएगा। साथ ही, पिछले वर्षों में हुए पौधारोपण कार्यों की थर्ड पार्टी से जांच कराने के भी निर्देश जारी किए गए हैं।
जांच में दोषी पाए जाने वाले घपलेबाजों पर कड़ी कार्रवाई के साथ उनसे आर्थिक नुकसान की भरपाई भी सुनिश्चित की जाएगी।
प्रयागराज का मामला:
प्रयागराज की सोरांव रेंज में 6 हेक्टेयर क्षेत्रफल में 15,000 पौधे लगाने का दावा किया गया था। जांच में इन दावों में अनियमितता पाई गई, जिसके चलते यह कदम उठाया गया है। विभाग अब सुनिश्चित करेगा कि पौधारोपण की प्रक्रिया पूरी पारदर्शिता और जिम्मेदारी के साथ हो।
वन विभाग के इस निर्णय से न केवल पर्यावरण संरक्षण के प्रयासों को बल मिलेगा, बल्कि अनियमितताओं पर भी लगाम लगेगी।
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