मुंबई आतंकी हमले का मास्टरमाइंड हाफिज सईद पाकिस्तान में 25 जुलाई को होने जा रहे आम चुनाव में अपने उम्मीदवार खड़ा करेगा. हाफिज के संगठन जमात-उद-दावा ने ‘अल्लाह-हू-अकबर तहरीक’ नाम के नए दल से चुनाव लड़ने का फैसला किया है. दरअसल, इस समूह की मिल्ली मुस्लिम लीग (एमएमएल) का राजनीतिक पार्टी के रूप में पंजीकरण होना अभी बाकी है. संगठन के एक वरिष्ठ सदस्य ने आज यह जानकारी दी. जमाद-उद-दावा ने साल 2008 में मुंबई हमले को अंजाम दिया था.
इस संगठन ने मिल्ली मुस्लिम लीग के नाम से अपनी राजनीतिक पार्टी शुरू की थी लेकिन पाकिस्तान चुनाव आयोग के पास यह अब तक पंजीकृत नहीं हो पाई है. आम चुनाव नजदीक आने के साथ ही संगठन ने निष्क्रिय पड़ी पार्टी ‘अल्लाह-हू-अकबर तहरीक’ के जरिए चुनाव लड़ने का फैसला किया है. यह पार्टी पाकिस्तान चुनाव आयोग में पंजीकृत है.
जमात-उद-दावा के एक सदस्य ने बताया, ‘यह एक निष्क्रिय पार्टी है जिसे एहसान नाम के नागरिक ने पंजीकृत कराया था. इस तरह की कई पार्टियां पाकिस्तान चुनाव आयोग में दर्ज हैं ताकि मुख्यधारा की किसी पार्टी को अगर परेशानियों का सामना करना पड़े तो वे इनका सहारा ले सकें.’ उन्होंने कहा कि एमएमएल के अध्यक्ष सैफुल्ला खालिद इस संबंध में जल्द ही औपचारिक घोषणा करेंगे.
25 जुलाई को होंगे चुनाव
पाकिस्तान में मौजूदा सरकार का कार्यकाल 31 मई को पूरा हो चुका है और फिलहाल पूर्व मुख्य न्यायाधीश नसीरुल मुल्क को कार्यवाहक प्रधानमंत्री चुना गया है. कार्यवाहक सरकार ही पाकिस्तान में चुनाव कराएगी. संसदीय चुनाव के अलावा सिंध, खैबर पख्तूनख्वाह, बलूचिस्तान प्रातों की सरकारों का कार्यकाल 28 मई को खत्म हो चुका है. पाकिस्तान के संविधान में सरकार का कार्यकाल खत्म होने के 60 दिन में चुनाव कराने होते हैं.
यह लगातार दूसरी बार हुआ है जब किसी चुनी हुई सरकार ने अपना 5 साल का कार्यकाल पूरा किया है. पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान में कुल 10.5 करोड़ मतदाता अपने अधिकार का इस्तेमाल करेंगे, जिनमें करीब 6 करोड़ पुरुष और 4.6 करोड़ महिला मतदाता शामिल हैं.
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