पणजी :
गोवा के मुख्यमंत्री लक्ष्मीकांत पारसेकर ने बारिश के इस मौसम में एक महत्वपूर्ण बात कही है। दरअसल उन्होंने राज्य के ऐसे निर्माण कार्य को लेकर गंभीरता दिखाई है जो कि अवैध और जर्जर हैं। उन्होंने कहा कि राज्य में जो निर्माण कार्य हुआ है उसके 90 प्रतिशत भाग को उन्होंने अवैध कहा है। निर्माण हेतु उन्होंने अनुमति लेने की प्रक्रिया को काफी उदासीन भी बताया। इस दौरान उन्होंने कहा कि यह प्रक्रिया कानूनों में उलझी हुई है। मुख्यमंत्री लक्ष्मीकांत पारसेकर ने कहा है कि राज्य में जो कानून हैं वे काफी जटिल हैं ऐसे में लोगों के मकान अवैध तरह से बने हैं।
मुख्यमंत्री पारसेकर ने कहा कि गोवा में निर्माण कार्य 90 प्रतिशत अवैध है। अवैध मकानों में रहने वालों को सदैव ही अपना घर गिरने का डर सताता है। उनका कहना था कि लीज पर ली गई जमीन में निर्मित मकानों को कानूनी मालिक की सहमति से नियमित किया जा सकता है। सरकार द्वारा मकान बनाने की अनुमति लेने की प्रक्रिया को आसान करने का प्रयास किया जा रहा है। इतना ही नहीं यह भी कहा गया है कि प्रयास ये हैं कि लोगों को आसानी से इसका लाभ उठाना होगा।
पारसेकर द्वारा कहा गया कि सरकार निवेशकों का विश्वास जीतने में सफल हो गई है। उनका कहना था कि उद्योगों ने वर्तमान इकाई के विस्तार हेतु आवेदन कर दिया है। हालांकि मुख्यमंत्री ने यहां अवैध निर्माणों की बात कही लेकिन यह भी कहा कि निवेशक यहां पर निवेश करने को अच्छा मानते हैं। बेरोजगारी को लेकर उन्होंने कहा कि यदि सरकार रही तो अगली सरकार आते – आते बेरोजगारी को भी दूर कर दिया जाएगा।
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