लखनऊ। प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने एक सवाल के जवाब में बुधवार को कहा कि अगर असेंबली चुनाव में बिहार की तर्ज पर यूपी महागठबंधन होने पर सीटों का आंकड़ा 300 पार हो सकता है।
हालांकि उन्होंने इस बात को भी जोड़ा की समाजवादी ब्रिगेड अपने दम पर भी बहुमत लाने का माद्दा रखती है। लेकिन चुनावी भंवर में गठबंधन की नैया उतरती है या नहीं यह पूरी तरह से सपा सुप्रीमा मुलायम सिंह यादव के रूख पर निर्भर है।
दरअसल कांग्रेस के चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर के साथ मुलाकात के बारे में अखिलेश ने कहा कि पीके ने उनसे मिलने का समय मांगा था।
उन्हें समय दे दिया ताकि कोई यह ना कहने पाए कि उनसे मिला नहीं। बैठक बढ़िया रही। मुलायम इस समय दिल्ली में हैं। रालोद नेता अजित सिंह और जदयू नेता शरद यादव के साथ उनकी अलग अलग मुलाकात हुई। इस दौरान मुलायम के छोटे भाई प्रदेश सपा अध्यक्ष शिवपाल सिंह यादव भी मौजूद रहे। राजद प्रमुख लालू प्रसाद भी राष्ट्रीय राजधानी में हैं।
जनता परिवार के सभी नेता पांच नवंबर को सपा के रजत जयंती समारोह में शामिल हुए थे। ये एकजुटता दिखाने का प्रयास भी था। एकजुटता इस बात पर निर्भर करेगी कि 403 सदस्यीय उत्तर प्रदेश विधानसभा की कितनी सीटें रालोद जैसे दलों को देने पर मुलायम राजी होंगे।