“बसपा सुप्रीमो मायावती ने देश की धीमी विकास दर को लेकर चिंता जताई है। उन्होंने कहा कि सरकार की नीतियों से गरीबों की स्थिति में कोई सुधार नहीं हो रहा है और सरकार को जनहित की दिशा में काम करना चाहिए।”
लखनऊ। बसपा सुप्रीमो मायावती ने एक ट्वीट के जरिए देश की विकास दर के घटने पर चिंता जताई है। उन्होंने कहा कि चार वर्षों में विकास दर 6.4 प्रतिशत तक रह सकती है, जो कि देश की अर्थव्यवस्था के लिए एक बड़ा संकट है। उनके अनुसार, सरकार की नीतियां गरीबों और मेहनतकश समाज के लिए कोई सकारात्मक बदलाव नहीं ला रही हैं, और देश के अधिकतर अखबारों में यह खबर प्रमुखता से छपी है।
मायावती ने यह भी कहा कि गरीबों के लिए सबसे बड़ी चिंता रुपये की गिरती कीमतें हैं। हालांकि, इसका गरीबों से प्रत्यक्ष संबंध नहीं है, फिर भी वे इस स्थिति से खुश नहीं हैं। उन्होंने सरकार से अपील की कि वह राजनीति से ऊपर उठकर देश के लाखों गरीबों की भावनाओं का सम्मान करते हुए उनके ‘अच्छे दिन’ की दिशा में काम करें।
मायावती का यह बयान देश के कई हिस्सों में चर्चा का विषय बना हुआ है, और यह सरकार की नीतियों पर एक बड़ा सवाल उठाता है। उनका कहना है कि जब तक सरकार जनहित को प्राथमिकता नहीं देती, तब तक देश में कोई बड़ा परिवर्तन संभव नहीं है।
“देश-दुनिया से जुड़े राजनीतिक और सामयिक घटनाक्रम की विस्तृत और सटीक जानकारी के लिए जुड़े रहें विश्ववार्ता के साथ। ताज़ा खबरों, चुनावी बयानबाज़ी और विशेष रिपोर्ट्स के लिए हमारे साथ बने रहें।“
विशेष संवाददाता – मनोज शुक्ल
Vishwavarta | Hindi News Paper & E-Paper National Hindi News Paper,  E-Paper & News Portal