नई दिल्ली। बीसीसीआई अध्यक्ष अनुराग ठाकुर ने शुक्रवार को कहा कि बोर्ड का मौजूदा संकट क्रिकेटरों के हित में नहीं है लेकिन संस्था को तीन जनवरी को उच्चतम न्यायालय के आने वाले फैसले तक इंतजार करना होगा।
उन्होंने कहा कि मामला अभी अदालत में है। हम परेशानी में हैं और हमें तीन जनवरी तक का इंतजार करने की जरूरत है।
प्रो कुश्ती लीग के लिए आयोजित एक प्रोमोशनल कार्यक्रम के मौके पर ठाकुर ने पत्रकारों से कहा कि बीसीसीआई ने सरकार से एक भी पैसा लिए बिना अपना खुद का ढांचा बनाया है। फिर भी कुछ पूर्व क्रिकेटर हमारे खिलाफ बोलते हैं।
यह पूछने पर कि बीसीसीआई एक लाख गांव पंचायत के लिए एक लाख कोच क्यों नहीं रख सकता तो उन्होंने हंसी उड़ाते हुए कहा, ‘हमारे पास काफी धन है लेकिन हम इसे खर्च नहीं कर पा रहे हैं। हमें इसके लिए अनुमति की जरूरत है। यहां अनुराग उच्चतम न्यायालय के निर्देश का जिक्र कर रहे थे, जिसमें उसने बोर्ड के फंड के लेन-देन पर रोक लगाई हुई है।
ठाकुर ने कार्यकारी ग्रुप में भारत को शामिल नहीं करने पर आईसीसी का भी मजाक उड़ाते हुए कहा कि मैं बैठक में था और प्रत्येक सदस्य को लगता था कि मजबूत विश्व क्रिकेट के लिए बीसीसीआई की जरूरत है। अगर कोई सोचता है कि वे बीसीसीआई के बिना काम कर सकते हैं तो उन्हें जानना चाहिए कि विश्व क्रिकेट को बीसीसीआई की जरूरत है।
उन्होंने भारतीय कप्तान विराट कोहली की आईसीसी की वर्ष की सर्वश्रेष्ठ टेस्ट टीम में अनदेखी किए जाने पर कहा कि आईसीसी को इस मामले को देखना चाहिए क्योंकि भारत नंबर एक टेस्ट टीम है। लेकिन मैं खुश हूं कि अश्विन को वर्ष का सर्वश्रेष्ठ टेस्ट क्रिकेटर चुना गया।
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